1.आर्मी तथा एयरफोर्स के जिन विद्यार्थियों ने पहले परीक्षा दे रखी थी तथा मेडिकली फिट थे जिनकी केवल जोइनिंग आना बाकी थी उस पूरी प्रक्रिया को रद्द कर देना।
2.अग्निवीर योजना के तहत भर्ती होने वाले जवान का कार्यकाल केवल 4 वर्ष का होगा तथा उसमें से 25% स्थाई होंगे बाकी को किसी प्रकार की कोई पेंशन और एक्स सर्विसमैन का कोटा नहीं मिलेगा।

3. पिछले 2 साल से भर्तियां नहीं हो रही थी जिसकी वजह कोरोना बताया गया था, अभ्यर्थियों को बताया गया कि आपको आयु सीमा में छूट मिलेगी लेकिन इसमें छूट नहीं दी गई।
रेलवे और अग्निपथ के खिलाफ युवाओं के आक्रोश को देख मैंने महसूस किया कि वर्तमान सरकार में युवाओं का आक्रोश इस कदर हावी हो चुका है कि वो कानून भी हाथ में लेने से नही कतरा रहें हैं।
वर्षों मेहनत करने के बाद भी हमारे युवाओं के हाथों में सरकार नौकरियां नहीं दें पा रही है। समय पर परीक्षाएं नहीं हो रही है और जो परीक्षाएं हो भी रही हैं उनके पेपरलीक हो रहे हैं। पढ़े-लिखे युवा जब कानून के खिलाफ खड़े हो जाएं तो समझ में आ जाता है कि मामला सरकार के हाथ से बाहर निकल चुका है।
पूरे देश में हो रहे युवाओं के विरोध प्रदर्शन से स्पष्ट है कि कृषि के तीन काले कानूनों की तरह अग्निपथ योजना भी युवाओं पर जबर्दस्ती थोपने का प्रयास है।
किसान के लिए योजना बनाई तो किसान से विचार-विमर्श नहीं ,जवान के लिए योजना बनाई और जवान से ही विचार-विमर्श नहीं। समझ नहीं आता सत्ताधारी पार्टी किस से डिस्कस करती है और क्या सोच की योजनाएं बना देती है।
देश की रक्षा करने वाली सेनाओं को ही अगर मन में सुरक्षा नहीं होगी तो वह देश की सुरक्षा कर पाएंगे इस पर हमें संदेह है।
सरकार अपनी स्थिति स्पष्ट करें और और इस योजना पे पुनः विचार करे !!